Tuesday, February 24, 2009

पाक ने मांगी कसब की वॉइस रेकॉर्डिंग

पाकिस्तान ने भारत से उस वॉइस रेकॉर्डिंग की मांग की है जिसमें मुंबई हमलों में पकड़े गए एकमात्र आतंकवादी अजमल आमिर कसब को पाकिस्तान के आकाओं से बात करते हुए सुना गया था। भारत के डोजियर के जवाब में पाकिस्तान ने 12 फरवरी को अपना जवाब भारत को दिया था जिसमें उसने मुंबई हमले में पाकिस्तान कनेक्शन की बात स्वीकार की थी। भारत को दिए जवाब में पाकिस्तान ने 30 सवाल उठाए थे और उनका जवाब मांगा था। इन्हीं सवालों में से एक था जिसमें पाक ने आतंकवादी अबू हमजा और काफा की कसब से बातचीत की रेकॉर्डिंग की देने को कहा था। पाक ने मांग की थी कि उसे आतंकियों की सैटेलाइट फोन/मोबाइल फोन पर हुई बात की वास्तविक फॉरेंसिंक रिपोर्ट्स दी जाए और दूसरे सबूत भी मुहैया कराए जाएं जिनसे पता चले कि आतंकवादियों के बीच संबंध थे। पाकिस्तान ने मुंबई पर हमले के (26 नवंबर से 28 नवंबर 2008)के दौरान आतंकवादियों और उनके आकाओं के बीच हुई बातचीत का पूरा ब्यौरा मांगा है। पाकिस्तान चाहता है कि उसे पूरा विवरण दिया जाए कि आतंकवादियों ने किन-किन नंबरों से बात की, किन-किन नंबरों पर कॉल किए औऱ उन फोन्स के रेकॉर्ड में कौन-कौन से नंबर हैं। साथ ही उसने यह भी कहा है कि अगर कसब ने पूछताछ के दौरान इस बात की जानकारी दी हो कि हमले से पहले उसके पास कौन सा नंबर था, तो उसकी जानकारी भी उसे (पाक)को दी जाए। इन मांगों में हमले में शामिल सभी 10 आतंकवादियों के फिंगरप्रिंट, डीएनए प्रोफाइल्स भी शामिल है ताकि उपलब्ध डाटा से उसकी तुलना की जा सके। हमले में मारे गए आतंकवादियों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट पाक को सौंपी जाए। पाक ने भारतीय अधिकारियों से यह भी कहा है कि कसब को ज़ाकिर-उर-रहमान लखवी की जिस तस्वीर को दिखाकर उसे पहचाने के लिए कहा गया था, वह उसे दी जाए। गौरतलब है कि पूछताछ में कसब ने लखवी को मुंबई हमलों का मास्टरमाइंड बताया है। पाकिस्तान ने अपने जवाब में डोजियर भारत द्वारा दिए गए कुछ तथ्यों पर शंका जताते हुए उनकी प्रमाणिकता पर सवाल उठाया है। पाकिस्तान ने जीपी डाटा के विवरण की मांग करते हुए कहा कि उसे पहले जो डाटा उपलब्ध करवाया गया है, वह स्पष्ट नहीं है। कई जानकारियां संदिग्ध हैं। पाकिस्तान ने अपने दस्तावेज में कहा है कि जीपीएस का जो डाटा उसे दिया गया है, उसमें से कई में तारीख की मुहर नहीं लगी है, जिससे उसे प्रमाणिकता पर संदेह होता है। मुंबई पर हमला करने वाले आतंकवादियों को सिमकार्ड उपलब्ध करवाने के आरोप में जिन दो भारतीय नागरिकों गिरफ्तार किया गया है, उनसे की गई पूछताछ की जानकारी भी पाकिस्तान ने मांगी है। वहीं दूसरी ओर, मुंबई क्राइम ब्रांच ने मुंबई हमले की चार्जशीट तैयार कर ली है और मंगलवार को इसे कोर्ट में दाखिल कर सकती है। चार्जशीट में कसब के अलावा लश्कर-ए-तैयबा के स्लीपर सेल में काम करने वाले सबाउद्दीन अहमद और फहीम अंसारी को मुख्य आरोपी बनाया गया है। इन तीनों पर भारत के खिलाफ युद्ध लड़ने, आतंकी हमले की साजिश रचने, हत्या, अपहरण, और कई अन्य़ धाराएं लगाई गई हैं। इन आरोपियों के खिलाफ क्राइम ब्रांच ने 80 से ज्यादा चश्मदीद और गवाह भी तैयार कर लिए हैं। करीब ढाई हजार पन्नों की इस चार्जशीट में तीनों आरोपियों पर डेढ़ दर्जन से ज्यादा आपराधिक धाराएं लगाई गई हैं। चार्जशीट उर्दू, अंग्रेजी और मराठी भाषा में बनाई गई है। 26 नवंबर 2008 को अजमल कसब ने अपने 9 पाकिस्तानी साथियों के साथ मिलकर मुंबई के अलग-अलग ठिकानों पर आतंकी हमला किया था, जिसमें 167 बेगुनाह मारे गए थे जबकि 300 से भी ज्यादा जख्मी हुए थे।