पाकिस्तान ने मुंबई हमलों में शामिल या भारत द्वारा वांछित आतंकियों को भारत को सौंपने से साफ इनकार कर दिया है।पाकिस्तानी विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कहा कि भारत और पाकिस्तान के बीच प्रत्यर्पण संधि नहीं है। हम लोग अपना आंतरिक ढांचा बनाने में जुटे हैं। ऐसे समय इन बातों में फंसा जाएगा तो यह पाकिस्तान के लिए नुकसानदेह होगा।कुरैशी ने एक सवाल के जवाब में यह बात कही। उनसे पूछा गया था कि क्या भारत और अमेरिका ने लश्कर-ए-तैयबा के आपरेशन कमांडर जकी-उर-रहमान लखवी, जैश-ए-मुहम्मद सरगना मसूद अजहर और हाफिज मुहम्मद सईद को भारत के हवाले करने की मांग रखी है? कुरैशी ने यह भी दोहराया कि अजहर पाकिस्तान की हिरासत में नहीं है।कुरैशी का यह बयान भारत को जवाब समझा जा रहा है। गुरूवार को भारतीय विदेश मंत्री प्रणब मुखर्जी ने कहा था कि ऐसे मामलों में कार्रवाई के लिए प्रत्यर्पण संधि होना जरूरी नहीं है। मुखर्जी ने कहा था कि मुंबई हमले के संदिग्धों के खिलाफ पाकिस्तान को अभी कार्रवाई करनी है। उन्होंने यह भी कहा था कि अंतरराष्ट्रीय दबाव के मद्देनजर वह ज्यादा दिनों तक कार्रवाई टाल नहीं सकेगा।पाकिस्तान का कहना है कि वह भारत के आरोपों की जांच अपने स्तर पर कर रहा है। कुरैशी ने बताया कि जांच काफी आगे बढ़ गई है, लेकिन उन्होंने इसका ब्यौरा नहीं दिया। उन्होंने कहा कि अगर अभी ज्यादा कुछ बताया गया तो जांच पर असर पड़ सकता है। उन्होंने भारत से मुंबई हमलों में पाकिस्तानियों का हाथ होने का सुबूत मुहैया कराने की मांग भी दोहराई।कुरैशी ने एक बार फिर युद्ध का हौवा खड़ा करने की भी कोशिश की। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को सूचना मिली है कि भारत उसकी सीमा में कुछ चुनिंदा ठिकानों पर हमले की योजना बना रहा है। यह भी कि पूर्वी कमान से नौसेना के जहाजों को पश्चिमी कमान भेज दिया गया है। कुरैशी बोले, इनके अलावा भी भारत की तैयारियों से जुड़ी जानकारियां पाकिस्तान के पास हैं, लेकिन मैं उनका खुलासा नहीं कर सकता।